भारत-कनाडा में बढ़ी तल्‍खी... टेढ़े हुए ट्रूडो तो किसे होगा ज्‍यादा नुकसान, आंकड़ों से समझ‍िए

नई दिल्‍ली: भारत और कनाडा के बीच चल रहे कूटनीतिक तनाव के बीच दोनों देशों के व्यापारिक रिश्तों पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। यह तनाव खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की कनाडा में हुई हत्या के बाद से गहराया है। इस घटना के बाद दोनों देशों ने एक-

4 1 7
Read Time5 Minute, 17 Second

नई दिल्‍ली: भारत और कनाडा के बीच चल रहे कूटनीतिक तनाव के बीच दोनों देशों के व्यापारिक रिश्तों पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। यह तनाव खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की कनाडा में हुई हत्या के बाद से गहराया है। इस घटना के बाद दोनों देशों ने एक-दूसरे के राजनयिकों को वापस बुला लिया है। कुछ को निष्कासित भी किया गया है। इस तनाव का असर दोनों देशों के बीच होने वाले 70,000 करोड़ रुपये के व्यापार पर पड़ने की आशंका है।
थिंक टैंक GTRI की रिपोर्ट के अनुसार, अभी तक इस तनाव का भारत-कनाडा व्यापार पर कोई खास असर नहीं पड़ा है। हालांकि, रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि अगर यह विवाद आगे बढ़ता है तो दोनों देशों को अपनी बिगड़ती आर्थिक स्थिति को संभालने के लिए सतर्क रहना होगा। ऐसा इसलिए क्योंकि दोनों देशों के बीच आयात और निर्यात में लगातार बढ़ोतरी हो रही है।

दोनों देशों के बीच कितना व्‍यापार?

वित्तीय वर्ष 2022-23 में भारत और कनाडा के बीच द्विपक्षीय व्यापार 8.3 अरब डॉलर का था। यह वित्तीय वर्ष 2023-24 में बढ़कर 8.4 अरब डॉलर (लगभग 70,611 करोड़ रुपये) हो गया।

रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि कनाडा से भारत का आयात बढ़कर 4.6 अरब डॉलर हो गया है, जबकि निर्यात में मामूली गिरावट के साथ यह आंकड़ा 3.8 अरब डॉलर रहा है।

इससे यह तो साफ है कि फिलहाल इस तनाव का व्यापार पर कोई खास असर नहीं पड़ा है। लेकिन, यह भी सच है कि अगर आने वाले दिनों में तनाव बढ़ता है तो व्यापार पर भी इसका असर पड़ सकता है।

कनाडाई पेंशन फंड ने भारत में लगभग 6 लाख करोड़ रुपये का निवेश किया है। लगभग 600 कनाडाई कंपनियां भारत में अपना कारोबार कर रही हैं।

कनाडाई पेंशन फंडों का भारत में कहां-कहां न‍िवेश?

AsiaPacific.ca की एक रिपोर्ट के अनुसार, 2013 से 2023 तक कनाडाई पेंशन फंडों की ओर से भारत में किए गए अधिकांश निवेश रियल एस्टेट (3.8 अरब कनाडाई डॉलर से अधिक), वित्तीय सेवाओं (3 अरब कनाडाई डॉलर से अधिक), औद्योगिक परिवहन (लगभग 2.6 अरब कनाडाई डॉलर) में रहे हैं। बुनियादी ढांचे और नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्रों में भी बड़े पैमाने पर निवेश किया गया है।

भारतीय उद्योग परिसंघ (CII) की ओर से पिछले साल जारी एक रिपोर्ट के अनुसार, 30 से अधिक भारतीय कंपनियों की कनाडा में उपस्थिति है। देश में उनका निवेश 40,446 करोड़ रुपये है। इन कंपनियों के माध्यम से 17,000 से अधिक लोगों को रोजगार मिला है। इन कंपनियों का R&D पर 70 करोड़ कनाडाई डॉलर खर्च किए जाने की भी बात कही गई थी।

कुल मिलाकर, यह कहा जा सकता है कि भारत और कनाडा के बीच बढ़ता कूटनीतिक तनाव दोनों देशों के व्यापारिक रिश्तों के लिए एक बड़ी चुनौती बनकर उभरा है। अगर यह तनाव लंबे समय तक बना रहता है तो इसका असर दोनों देशों की अर्थव्यवस्था पर पड़ सकता है।

\\\"स्वर्णिम
+91 120 4319808|9470846577

स्वर्णिम भारत न्यूज़ हिन्दी के एंड्रॉएड ऐप के लिए आप यहां क्लिक कर सकते हैं.

मनोज शर्मा

मनोज शर्मा (जन्म 1968) स्वर्णिम भारत के संस्थापक-प्रकाशक , प्रधान संपादक और मेन्टम सॉफ्टवेयर प्राइवेट लिमिटेड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Laptops | Up to 40% off

अगली खबर

Kolkata News: 18 साल बाद मलेशिया एयरलाइंस ने कोलकाता से शुरू की सीधी उड़ान, देखें पूरा शेड्यूल

राज्य ब्यूरो, स्वर्णिम भारत न्यूज़, कोलकाता। मलेशिया एयरलाइंस ने 18 साल बाद कोलकाता और कुआलालंपुर के बीच सीधी उड़ानें फिर से शुरू करने की घोषणा की है। एयरलाइन दो दिसंबर से इस मार्ग पर बोइंग 737-800 विमान के साथ सोमवार, मंगलवार, शुक्रवार, शनिवार औ

आपके पसंद का न्यूज

Subscribe US Now